बदलती जीवनशैली और गलत खान-पान के कारण अक्सर महिलाओं को पीरियड्स से जुड़ी समस्याएं होने लगती है। अनियमित पीरियड्स में महिला के पीरियड्स एक या दो महीने में केवल एक बार या एक महीने में दो-तीन बार होने लगते हैं। इस समस्या से भविष्य में कई प्रकार की स्वास्थ्य संबंधी समस्या बढ़ सकती है। लेकिन महिलाएं अक्सर अनियमित पीरियड्स को अनदेखा कर देती है। लेकिन इस समस्या से बचने के उपाय करने चाहिए। जहां तक सम्भव हो सके तो घरेलू इलाज ही करवाना चाहिये। आज हम आपको ऐसे कुछ ऐसे ही 10 घरेलू उपाय बारे में बताएंगे, जिनका नियमित रूप से सेवन करने पर हमारी ये समस्या खत्म हो सकती है और हमारे पीरियड्स नॉर्मल आने शुरू हो सकते है।
अजवाइन में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स पेल्विक एरिया के ब्लड सर्कुलेशन बढ़ाते है। पीरियड्स नॉर्मल करने के लिए थोड़ी सी अजवाइन को कुछ समय के लिए पानी में भिगोकर रख दें। अब इसके पानी को पी लें।
अदरक की तासीर गर्म होती है, जिससे शरीर का मेटाबॉलिज्म तेज होता है साथ ही पीरियड्स नॉर्मल हो जाते है। यह पीरियड्स को बढ़ावा देने वाले वाला और पीरियड्स में देरी या अल्प समय की समस्या को दूर करने के लिए बहुत अच्छा होता है। इसलिए अदरक को शहद के साथ खाएं। या आधा कप में थोड़ी सी अदरक मिलाकर 5-7 मिनट के लिए उबाल लें। फिर इसमें थोड़ा सा शहद मिलाये। भोजन के बाद इसका मिश्रण का दिन में तीन बार सेवन करें।
कद्दू के बीज में मौजूद जिंक टेस्टेस्टेरॉन हॉर्मोन लेवल को बढ़ाते है, जिससे पीरियड्स नियमित हो जाते है। इसलिए रोजाना दिन में 3 बार कद्दू के बीज का आधा चम्मच खाएं।
पपीते में मौजूद पेपन नामक तत्व एस्ट्रोजन हॉर्मोन लेवल को बढ़ाते है, जिससे पीरियड्स नॉर्मल हो जाते है। इसलिए रोजाना पपीता खाएं या फिर इसके शेक बना कर पीएं। या कुछ महीनों के लिए नियमित रूप से कच्चे पपीते के रस का सेवन करें। लेकिन इस उपाय को पीरियड्स के दौरान न करें।
यदि आपको नियमित महावारी नहीं होता है तो ३ ग्राम काली मिर्च को कूट कर शहद के साथ 2 महीने लगातार सुबह लें| आपकी माहवारी नियमित समय पर आने लगेगी |
काले तिल तासीर काफी गर्म होती है, जो पोल्विक एरिया में ब्लड सर्कुलेशन को बढ़ाने का काम करती है। रोजाना सुबह 1 चम्मच काले तिल खाएं। हार्मोंन संतुलन में मदद करके तिल के बीज पीरियड्स को विनियमित करने में बहुत उपयोगी होते हैं। लिगनेन से भरपूर होने के कारण यह अधिक हार्मोंन को बांधने में मदद करता है। इसके अलावा इसमें आवश्यक फैटी भी होते हैं जो हार्मोन के उत्पादन को बढ़ावा देने में मदद करते हैं।
सौंफ के बीज़ मासिक चक्र की अनियमितता को दूर करने में रामबाण साबित होते हैं। एक गिलास पानी में कुछ सौंफ के बीज डाल कर उसे रात भर भीगने के लिए छोड़ दें। अगली सुबह उठकर उस पानी को छलनी से छान कर उसका सेवन करें। ऐसा नियमित करने से कुछ दिनों के अंदर ही अंदर आपके मासिक चक्र में नियमितता आने लगेगी।
जैसा कि हम सभी जानते ही है कि शरीर में होर्मोंस के असंतुलन से मासिक चक्र में अनियमितता आती है। हल्दी प्राकृतिक रूप से हमारे शरीर में इन्ही होर्मोंस में संतुलन बनाए रखता है और मासिक चक्र को सुधारता है। इसके लिए आप एक चौथाई चम्मच में हल्दी का पाउडर लें और उसमे बराबर की मात्रा में शहद मिलाकर उसका रोजाना सेवन तब तक करें, जबतक आपको उसके फायदे ना मिलने लगें।
दिन में कम से कम तीन बार धनिये के पत्ते से बने हुए काढ़े का सेवन करने से अनियमितता दूर होने लगती है।
एलोवेरा के रस या जेल का नियमित सेवन भी मासिक चक्र की अनियमितता को ठीक करने का एक अचूक उपाय है।