पुलवामा आतंकी हमले से लेकर एयर स्ट्राइक होने तक सियासत ने कई रुख अपनाएं हैं। जहां एक तरफ इसे सेना और एयरफोर्स की जांबाजी और शौर्य का प्रतीक माना जा रहा है तो वहीं अब इस पर सबूत मांगो गैंग ने वापिस से अपनी जुबान खोल ली है। दरअसल देश की दीदी यानी की पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सरकार से एयरस्ट्राइक के सबूत मांग लिए हैं। ममता बनर्जी का कहना है कि पाकिस्तान पर एयरस्ट्राइक के बाद प्रधानमंत्री ने कोई सर्वदलीय बैठक नहीं बुलाई है।
उन्होंने अब मांग कर दी है कि सरकार ऑपरेशन की जानकारी साझा करें। दरअसल जम्मू कश्मीर के पुलवामा में बीते 14 फरवरी को जैश के आत्मघाती आतंकी हमले ने सीआरपीएफ के काफिले को निशाना बनाया था, जिसमें 40 जवान शहीद हो गए थे। इसके बाद भारत ने जवाबी कार्यवाही करते हुए 26 तारीख को पाकिस्तान की सीमा में दाखिल होकर पाकिस्तान में पल रहे आतंकियों के ठिकानों पर और उनके ट्रेनिंग कैंप पर हमले किए थे।
ममता बनर्जी ने खबर का दिया हवाला
ममता बनर्जी ने जब प्रधानमंत्री मोदी से सबूत मांगे तो उन्होंने अंतर्राष्ट्रीय मीडिया रिपोर्ट्स का हवाला दिया। उन्होंने बताया कि मैं न्यूयॉर्क टाइम्स पढ़ रही थी और उसमें लिखा था कि इस ऑपरेशन में कोई भी नहीं मारा गया है और कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में एक मौत की बात कही गई है।
इसलिए हम इसकी पूरी जानकारी चाहते हैं। उन्होंने एक बार फिर से पीएम नरेंद्र मोदी पर चुनाव से पहले जवानों के खून पर राजनीति करने का आरोप लगा दिया है। ममता ने कहा कि जवानों के साथ ऐसा कोई कैसे कर सकता है।
कहां बम गिराए गए, कितने लोग उसमें मारे गए?
वहीं इस एयरस्ट्राइक को लेकर तृणमूल कांग्रेस की मुखिया ममता बनर्जी ने नरेंद्र मोदी सरकार से जवाब मांगा है। उन्होंने कहा कि विपक्ष होने के नाते हम ऑपरेशन और एयरस्ट्राइक की पूरी जानकारी चाहते हैं। सरकार बताए कि कहां बम गिराए गए, कितने लोग उसमें मारे गए?
गौरतलब है कि ममता बनर्जी के इस सवाल से एक तरफ लोगों के अंदर गुस्सा जरूर आया होगा। एक बार फिर से हमारे देश के जांबाजों पर राजनीति होना शुरु हो गई है। और बिना थोड़े वक्त का इंतजार किए, सबूत कि मांग कर देना ये दर्शाता है कि लोकसभा के चुनाव में असल में अब बेहद ही कम वक्त बाकी है।
आपको बता दें कि मसूद अजहर के आतंकी संगठन के द्वारा जो 14 फरवरी को हरकत की गई थी, जिसमें हमारे 40 के करीब जवान शहीद हुए थे। इसी का जवाब देने के लिए 26 फरवरी की देर रात भारतीय वायुसेना ने पाकिस्तानी की सीमा में घुसकर आसमान से जैश-ए-मोहम्मद के आतंकी कैंपों को निशाना बनाया था।
इस एयरस्ट्राइक के बाद से पाकिस्तान में हलचल मच गई थी, अगले दिन पाकिस्तान की तरफ से भी वायू सीमा का उल्लंघन किया गया था। जिसमें भारतीय वायूसेना के एक विंग कमांडर भी जवाबी कार्यवाही में पाकिस्तान के हत्थे चढ़ गए थे। हालांकि वो रिहा जरूर हो रहे हैं। लेकिन इस पूरे घटनाक्रम में देश के तमाम राजनीतिक दलों ने भारतीय वायुसेना के पराक्रम को सलाम किया है।
बड़ी तादाद में मारे गए आतंकी
विदेश मंत्रालय ने अपनी आधिकारिक प्रेस वार्ता में मौत का कोई आंकड़ा तो नहीं दिया था, लेकिन मंत्रालय की तरफ से ये जरूर कहा गया कि जैश के कैंप पर जो एयरस्ट्राइक हुई है, उसमें आतंकी समूह के कमांडरों समेत बड़ी तादाद में आतंकियों को मार गिराया गया है। हालांकि पाकिस्तान ने इस एयरस्ट्राइक से किसी भी तरह के नुकसान ना होने का दावा किया है।