जब से दिल्ली विधानसभा चुनाव की शुरुआत हुई थी, तभी से एक के बाद एक कुछ खास तरह के शब्द प्रचार में और आरोप लगाते वक्त सुनने में आए थे। कभी किसी ने गद्दार तो कभी पाकिस्तान तो कभी आतंकवादी कहा। इस तरह के शब्दों के जरिए भाजपा ने दिल्ली की राजनीति में एक बंटवारा करने की कोशिश की, लेकिन चुनावी नतीजों के आने के बाद जिन नेताओं को भाजपा ने गद्दार, पाकिस्तानी और आतंकवादी कहा था, वो ही नेता जीते हैं और लगभग 90 फीसदी सीटें अपने नाम की है। एक बार फिर से भाजपा को उनके नेताओं के विवादित बयान उन्हीं पर भारी पड़ गए। भाजपा ने इस बार दिल्ली विधानसभा चुनाव में अपनी पूरी ताकत लगा दी थी।
नरेंद्र मोदी, अमित शाह, योगी आदित्यनाथ से लेकर तमाम बड़े नेता और यहां तक की सहयोगी दलों ने भी दिल्ली में आकर चुनाव प्रचार किया। मनोज तिवारी ने भी कोशिश की कि कम से कम पूर्वांचली वोटर्स को तो अपनी तरफ कर सकें। लेकिन न तो भाजपा के बड़े-बड़े नेता कुछ कर पाए और न बड़बोले नेताओं की बयानबाजी काम आई। दिल्ली में एक बार फिर से केजरीवाल का झाड़ू चल गया है, जिसने बाकी पार्टियों को साफ कर दिया हैं। कांग्रेस को तो पूरी ही तरह से साफ कर दिया है, जो अपनी जमानत तक नहीं बचा सकी। 62 सीटों पर आम आदमी पार्टी और 8 सीटों पर भाजपा ने कब्जा किया।
वैसे तो अनुराग ठाकुर केंद्रीय मंत्री हैं, लेकिन दिल्ली में चुनाव प्रचार के दौरान उनके बोल बिगड़ गए और एक रैली के दौरान उन्होंने शाहीन बाग में प्रदर्शन कर रहे लोगों को गद्दार कहा। इतना ही नहीं, उन्होंने तो नारा भी लगवा दिया कि ‘देश के गद्दारों को गोली मारे #$%^& को’। कुछ दिनों बाद जामिया और शाहीन बाग में गोली भी चल गई, जिसके बाद अनुराग ठाकुर को निशाने पर भी लिया गया। अब शाहीन बाग वाली ओखला सीट तो आम आदमी पार्टी जीती ही है, पूरी दिल्ली को भी प्रचंड बहुमत से जीत लिया। कहना गलत नहीं होगा कि जिन्हें अनुराग ठाकुर ने गद्दार कहा था, वो ये लड़ाई जीत चुके हैं।
आम आदमी पार्टी से भाजपा में शामिल हुए कपिल मिश्रा ने दिल्ली चुनाव से पहले ट्वीट किया था कि 8 फरवरी को दिल्ली की सड़कों पर हिंदुस्तान और पाकिस्तान का मुकाबला होगा। पाकिस्तान की एंट्री शाहीन बाग में हो चुकी हैं और दिल्ली में छोटे छोटे पाकिस्तान बनाए जा रहे हैं। शाहीन बाग, चांद बाग, इंद्रलोक में देश का कानून नहीं माना जा रहा है और पाकिस्तानी दंगाइयों का दिल्ली की सड़कों पर कब्जा है। उन्होंने तो शाहीन बाग को मिनी पाकिस्तान तक कह दिया था, जिस पर चुनाव आयोग ने कार्रवाई करते हुए उनके चुनाव प्रचार पर कुछ दिन का बैन भी लगाया था। अब चुनावी नतीजे आ गए हैं और इसमें दिख गया है कि कपिल मिश्रा का पाकिस्तान भी दिल्ली चुनाव में जीत गया है।
पहले भाजपा सांसद प्रवेश वर्मा ने अरविंद केजरीवाल को आतंकवादी कहा और कुछ दिन बाद मोदी सरकार में मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने भी उसी दावे पर मुहर लगाने का काम किया। उन्होंने कहा था कि केजरीवाल के आतंकवादी होने के कई सबूत हैं। अरविंद केजरीवाल को आतंकवादी कहे जाने की शिकायत भी चुनाव आयोग से की गई। तो वहीं अरविंद केजरीवाल ने भी कहा कि वो दिल्ली के बेटे हैं, उन्हें आतंकवादी कहा गया, जिससे उनके माता-पिता को बहुत दुख पहुंचा है। अब चुनावी नतीजों ने प्रवेश वर्मा और प्रकाश जावड़ेकर के आतंकवादी को ही दिल्ली की सत्ता दे दी है। दिल्ली की जनता ने साफ कर दिया है कि कोई कितनी भी बयानबाजी कर ले, लेकिन उनका वोट किसे जाएगा, इसका फैसला दिल्लीवाले खुद ही करते हैं।
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने दिल्ली के बाबरपुर में एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा था कि 8 फरवरी को इतनी जोर से बटन दबाना कि करंट शाहीन बाग तक पहुंचे। उन्होंने कहा था कि पीएम मोदी सीएए लेकर आए, लेकिन राहुल गांधी और अरविंद केजरीवाल एंड कंपनी इसका विरोध कर रही हैं। दिल्ली में दंगे कराए, लोगों को उकसाया, भड़काया, गुमराह किया, बसें जला दीं, लोगों की गाड़ियां जला दीं। ये लोग फिर से आए तो दिल्ली सुरक्षित नहीं रह सकती है। अब जो भाजपा 45-50 सीटों का दम भर रही थी, वो सिंगल डिजिट में जा पहुंची है। वहीं शाहीन बाग का असली करंट तो कांग्रेस को लगा दिख रहा है, जिसका सूपड़ा ही साफ हो गया है।