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All around the world, thousands of markets have millions of tents, and an Arabic tent still lists at the top position and astonishing part of Arabic tents.

Taaza Tadka

देखा गुरु, मिसिर जी के पतोहिया नियर बबाल मचा देहि

का हो तूफानी चाचा , अरे पतोहिया त बबाल मचाय देहलस ... तोहू कहले न माने ल्या ? हमेशा पतोही के पीछे पड़ल रहेला। सबेरवे मुहे में डाल के हिलावत हवा, बोले से

सुबह सुबह रामनाम गुरु नीम का दातून हिलाते …

का हो तूफानी चाचा , अरे पतोहिया त बबाल मचाय देहलस … तोहू कहले न माने ल्या ? हमेशा पतोही के पीछे पड़ल रहेला। सबेरवे मुहे में डाल के हिलावत हवा, बोले से पाहिले सोचेला न कि का कहत हई ..

तूफानी चचा चापे ,,

रामनाम गुरु माहौल ख़राब होता देख,,, देखा चाचा तू दूसर मतलब निकाल लेहला , हम कहल चाहत रहली कि, आज कल ढेर पतोही से झगड़ा रगड़ा मत फाना नहीं त मिसिर जी क हाल होई ….तूफानी चचा क पारा गरम,,,

इ कौने मिसिर जी के कुद्व्ले सबेरे सबेरे भाय ?

समाचार वोमाचार पढ़ल करा मिसिर जी क पतोहिया, डिम्पलवा बम्बई से बम्बैया अंदाज में आयल बाट़े …..ससुरा सोचलस की इह दुसर बियाह रचे के आनंद लेब के खोज पायी, लेकिन आज कल क लईकी, बाप रे बाप ! , रामनाम गुरु चालू,,,

तूफानी चचा भी तार से जुड़ गए ,’ हा यार हमहू कत्तो सुनाली का मामला हाउ’

अब रामनाम गुरु का असाल पर्बचन शुरू हुआ,
कहे कि इ राते रात हीरोईन बन गिल चच| मेहरारुन क त हर जगहे समर्थक मिल जाने, इ कुल गौवन क एके हाल हा

तूफानी चचा टपके, ‘अब तू केकर बुराई कायल चाहत हवा ?’

बुराई नहीं निचोड़ जवन समझली वू दू ठे बा , ऐसन करे में अब सबकर फ़ाटी , दुसर बात एहिमे भीडिया आपन पुरनकी दुश्मनी भी निकल लेले।

कुछो हो पतोहिया बबाल मचवलस न ? …एक थे नजीर बनल न ? ….अबहीं देखा अब केतना सुतल डिम्पल सडकी प जियाब मोहल करिहे,,,तू सही कहत हवे गुरुआ मेहरारुन के चक्कर में न पड़े तबे ठीक।।।।।।